सोच को बदलो, सितारे बदल जाएंगे,
नजर को बदलो, नजारे बदल जाएंगे।
जरुरत नहीं है किश्ती बदलने की,
दिशाओं को बदलो किनारे बदल जाएंगे।
राजस्थान राज्य के नि:शक्तजन आयुक्त खिल्लीमल जैन अगले महीने की चार तारीख को अपने पद से सेवामुक्त हो जाएंगे। इसके बाद भी वे नि:शक्तजन के लिए सक्रीय रहेंगे और वे सब कार्य सम्पन्न करेंगे जो वे पद पर रहते हुए पद की सीमाओं और मर्यादाओं के कारण नहीं कर पा रहे थे। उन्होंनें सन् 2007 को जुलाई माह की पांच तारीख को आयुक्त के रूप में पद ग्रहण किया था। उनका कार्यकाल तीन वर्ष का था।
जैन ने यह संकेत दिए हैं कि नि:शक्तजन कल्याण क्षेत्र में अभी बहुत कुछ सही होना शेष है। सरकारी काम का ढर्रा और पद की कुछ सीमाएं होने के कारण ऐसा बहुत कुछ है जो वे पूरा नहीं कर पाए, जो होना चाहिए। उनसे जब यह जानना चाहा कि जब पद पर पावर में रहते हुए भी वे जो कार्य नहीं कर पाए वे पद से हटने के बाद कैसे संभव होंगे? जैन ने अपनी चिरपरिचित मुस्कुराहट की ओट में संकेत दिया कि 'ऐसे बहुत से कार्य होते हैं जो सचिवालय में बैठकर नहीं किए जा सकते, लेकिन वह स्टैच्यू सर्किल पर बैठक ज्यादा आसानी से किए जा सकते हैं।
बात का खुलासा किए जाने के आग्रह को टालते हुए जैन ने कहा कि समय आने पर सब स्पष्ट हो उन्होंने कहा कि नि:शक्तजन के लिए अभी बहुत कुछ किया जाना शेष है। ऐसा बहुत कुछ है जो अब तक हो जाना चाहिए था, लेकिन सरकार की सुस्त चाल और सकारात्मक सोच के अभाव में नहीं हो पाया है। हाल ये है कि दो माह पहले ही विकलांगों से प्रमाणपत्र देने के लिए फीस नहीं वसूलने के आदेश किए गए थे, लेकिन अस्पताल प्रशासन इसे लागू करने में कोताही बरत रहा लगता है। ऐसे अनेको उदाहरण हैं। अब सीट पर बैठकर जारी किए अपने ही आदेशों को लागू कराने के लिए सड़क पर बैठना होगा।
जैन कहते हैं:
गम में अगर एक खुशी ढूंढ सको
आंसू में अगर एक हंसी ढूंढ सको
गैरों में अगर एक अपना ढूंढ सको
तो तुमसे मेरा यह वादा रहा...
जीने का सहारा मिल जाएगा।
मंगलवार, जून 08, 2010
सदस्यता लें
टिप्पणियाँ भेजें (Atom)
गम में अगर एक खुशी ढूंढ सको
जवाब देंहटाएंआंसू में अगर एक हंसी ढूंढ सको
गैरों में अगर एक अपना ढूंढ सको
तो तुमसे मेरा यह वादा रहा...
जीने का सहारा मिल जाएगा।
सटीक मुक्तक है.....और सरकार का तो क्या कहें? हाल बेहाल है
सुन्दर रचना ......
जवाब देंहटाएंघर से मस्जिद है बहुत दूर... चलो यूँ कर लें... किसी रोते हुए बच्चे को हँसाया जाये
दम है जैन साहेब की बातों में......
जवाब देंहटाएंJetha ! Good write up . Prateek
जवाब देंहटाएं